पंप अटैडर गए थे वेतन बढबाने: अध्यक्ष बोली आप अंशकालीन कार्यकर्ता है, अब मडीखेडा आ गई, अब हम अंशकालीन कर्मचारीयों का क्या करेंगे

शिवपुरी। आज शिवपुरी नगर पालिका के पंप अटेंडरों ने एकजुट होकर सिंधिया जनसंपर्क कार्यालय पहुंचकर कैबिनेट मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया के नाम गायत्री शर्मा को ज्ञापन सौपा है। इस दौरान पंप आॅपरेटरों ने नगर पालिका से उनके बेतन वढाए जाने और समय पर बेतन के भुगतान की मांग की। परंतु यहां सब पंप आॅपरेटरों के लिए उल्टा हो गया। यहां नगर पालिका अध्यक्ष गायत्री शर्मा ने पंप आॅपरटेरों को यह तक कह दिया कि आप अंशकालीन कार्यकर्ता है। आपको जब तक शहर में मडीखेडा नहीं थी तब तक के लिए रखा गया था। परंतु अब मडीखेडा आ गई है। तो अब आपका क्या करना है यह पीआईसी तय करेंगी।
कुल मिलाकर इस मामले में जो आॅपरेटर अपनी मांग मनबाने के लिए आंदोलन की तर्ज पर एकजुट होकर गए उनकी हवा नगर पालिका अध्यक्ष ने डीली कर दी। जिसे लेकर अब यह सोचने पर मजबूर हो गए। नगर पालिका अध्यक्ष ने इस दौरान पंप आॅपरेटरों से कहा कि उन्हेें जो तीन माह की सैलरी भी मिली है वह भी उन्हीं के कहने पर मिली है। इस मामले को लेकर हमने पीआईसी मेें पास कराकर उन्हें पैसा दिलाया है। अब फिर अगले माह की सैलरी के लिए फिर से पीआईसी से इसे पास कराना पडेगा। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अब यह मामला कोर्ट में पहुंच गया है तो वह अब कुछ नहीं कर सकती।
पंप अटेंडरों का कहना है नगर पालिका में 240 के लगभग पंप अटेंडर कार्यरत है, जिनमें से 65 पंप अटेंडरों ने वेतन बढ़ाए जाने की संबंध में श्रम न्यायालय में केस दायर किया था। उक्त केस में न्यायालय द्वारा हमारे हित में फैसला सुनाया है न्यायालय ने नगर पालिका शिवपुरी के 65 पंप अटेंडरों का वेतन सात हजार से बढ़ा कर 9325/- रु प्रतिमाह देने का फरमान सुनाया है। इसके बावजूद नगर पालिका प्रबंधन उन्हें वेतन बढ़ाकर नहीं दे रही है।
जबकि सभी नगर पालिका के पंप अटेंडर के पद पर पदस्थ होने के बावजूद पानी सप्लाई सेवा से हटकर नगरपालिका के अन्य कार्यों में भी सहयोग करते हैं। इसके बावजूद नगर पालिका प्रबंधन पंप अटेंडरों के परिवार के हित के बारे में नहीं सोच रहा है आज उन्हें सात हजार रुपए के लगभग वेतन दिया जाता है जो कि आज की महंगाई के इस दौर में काफी नहीं है इसके अतिरिक्त दो माह की वेतन भी रोक कर नगर पालिका की ओर से दी जा रही है। अब श्रम न्यायालय ग्वालियर ने वेतन बढ़ाए जाने का आदेश भी जारी किया है लेकिन नगर पालिका प्रबंधन आदेश का भी पालन नहीं कर रही है। मुख्य नगर पालिका अधिकारी केशव सरकार का कहना है कि न्यायालय के वेतन वृद्धि के आदेश काव्य हाईकोर्ट में अपील करेंगे।