सीवर लाइन प्रोजेक्ट बना मौत का जाल: रेलवे स्टेशन रोड पर क्षतिग्रस्त चैंबर में बाइक सवार गिरा, घायल

शिवपुरी शहर में सीवर लाइन प्रोजेक्ट अब लोगों के लिए राहत नहीं बल्कि जानलेवा साबित हो रहा है। रविवार रात पुलिस लाइन के पास रेलवे स्टेशन रोड पर क्षतिग्रस्त पड़े सीवर चैंबर में एक बाइक सवार गिर गया, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया। राहगीरों की मदद से घायल को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
करौंदी कॉलोनी निवासी राजेश बाथम ने बताया कि वह मजदूरी कर घर लौट रहा था। तभी अचानक बाइक का पहिया टूटे पड़े चैंबर में धंस गया और वह बाइक समेत गिर पड़ा। गिरने के बाद उसे बेहोशी आ गई। राहगीरों ने उसके मोबाइल से परिजनों को सूचना दी, जिसके बाद उसे जिला अस्पताल पहुंचाया गया।
यह कोई पहली घटना नहीं है, इससे पहले भी कई लोग इसी सड़क के खुले या क्षतिग्रस्त चैंबर की वजह से घायल हो चुके हैं। करीब आठ माह पहले रामबाग कॉलोनी निवासी संजय रावत की बाइक भी इसी तरह चैंबर में फंस गई थी, उसकी जान बड़ी मुश्किल से बचाई जा सकी थी। बारिश के मौसम में जब सड़क पर पानी भर जाता है तो चैंबर दिखाई नहीं देते और लोग दुर्घटनाओं का शिकार हो जाते हैं। बावजूद इसके नगर प्रशासन और जिम्मेदारों ने इस दिशा में कोई ठोस कार्रवाई नहीं की।
12 साल में 59 से 112 करोड़ पहुंची लागत, फिर भी अधूरा –
जानकारी के अनुसार शिवपुरी में सीवर लाइन प्रोजेक्ट की शुरुआत करीब 12 साल पहले 59 करोड़ की लागत से की गई थी। उद्देश्य था कि शहर को गंदगी और जलभराव से राहत मिले। लेकिन आज, 12 साल बाद भी प्रोजेक्ट अधूरा है। अब इस प्रोजेक्ट की लागत बढ़कर 112 करोड़ रुपए से अधिक हो चुकी है।
जानकारों के मुताबिक, जो सीवर लाइनें वर्षों पहले बिछाई गई थीं, वे अब जगह-जगह क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। कई चैंबर टूटे पड़े हैं, जिससे यह प्रोजेक्ट शहरवासियों के लिए मुसीबत बन गया है।
3 साल से भुगतान अटका, कार्य ठप –
इस मामले में पीएचई विभाग के ईई शुभम अग्रवाल ने बताया कि रेलवे स्टेशन रोड पर हाल ही में पांच चैंबरों का मेंटिनेंस कराया गया था। ढक्कन टूटने से दुर्घटनाएं हो जाती हैं, जिन्हें दुरुस्त कराने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि पूरे शहर में सीवर लाइन बिछ चुकी है और लगभग 30 प्रतिशत टेस्टिंग भी हो चुकी है, लेकिन पिछले तीन साल से नगर पालिका द्वारा वेंडर कंपनी को भुगतान नहीं किया गया है, जिसके चलते कार्य अधर में लटका हुआ है।
