इस बैंक ने डंडा बैंक को भी पीछे छोडा, 5 लाख का लोन चू​कता करने के बाद मेनेजर बोला 15 रूपए के अब 15 हजार देने होंगे

शिवपुरी। खबर शहर के देहात थाना क्षेत्र के सिंडीकेंड बैंक से आ रही है। जहां शहर में संचालित डंडा बैंकों भी इस बैंक ने पीछे छोड दिया है। डंडा बैंक की तर्ज पर एक युवक द्धारा अपना पूरा लौन चूकता करने के बाद भी उसपर 15 हजार की जबरन ​की रिकवरी निकाल दी। इस मामले की शिकायत पीडिता ने कलेक्टर अक्षय कुमार से की। जहां कलेक्टर ने मामले की जांच कराने की बात कही।

जानकारी के अनुसार आकाश जैन पुत्र राजकुमार जैन उम्र 29 साल निवासी वीर सावरकर कॉलोनी शिवपुरी ने 2017 में सिंडीकेड बैंक ब्रांच गुरूद्धारा से 5 लाख रूपए का बिजनिस लोन लिया था। जिसकी किस्त आकाश जैन लगातार भर रहा था। बीते एक साल पहले उसने इस लोन को फोर्स क्लॉज करने के लिए तत्कालीन बैंक मेनेजर से बात की तो उसने बताया कि 1 लाख 14 हजार 663 रूपए जमा कर दो आपका पूरा लॉन खत्म हो जाएगा। जिसपर से आकाश ने यह राशि नगद अपने खाते में जमा करा दी। उसके बाद यह बैफ्रिक हो गया।

अब उसके खाते में एक व्यापारी के यहां से 5 500 रूपए का पैमेंट आया। कुछ देर बाद जब युवक ने अपना अकाउण्ट चैक किया तो खाते में मात्र 500 रूपए बचे। जिसपर युवक ने अपना खाता बैंक में जाकर चैक कराया। जिसपर बैंक ने बताया कि उसपर तो लोन चल रहा है। इसलिए यह पैसे लोन के व्याज के कटे है।

युवक ने मेनेजर से बात की तो मेनेजर ने बताया कि उसने खाते के पूरे रूपए जमा नहीं किए है। खाते में जब पूरा पेमेंट जमा है तो यह कहा से आया। जिसपर मेनेजर ने बताया कि उसपर उस समय 15 रूपए का पेमेंट रह गया था। उसपर पैनेल्टी लग लग कर यह 15 हजार हो गई है।

जिसपर व्यापारी ने ​कहा कि जब उसने 1 लाख 14 हजार 663 रूपए जमा किए तो क्या वह 15 रूपए जमा नहीं कर पाता क्या तो बैंक मेनेजर ने बताया कि इसमें तत्कालीन मेनेजर की गलती है उसने इसे क्लोज नहीं किया जिसके चलते यह बढ गया है। अब पीडित ने इस मामले की शिकायत कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह से की। जहां कलेक्टर ने मामले की जांच के बाद कार्यवाही की बात कही। इस मामले को लेकर व्यापारी बुरी तरह आक्रोशित है।

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